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- Written by / Edited by Bharat Bhushan
- Category: RSS Media Cell , Jharkhand Wing
भोपाल – हिन्दुओं पर अत्याचार के विरोध में भारत माता चौक पर विराट हिन्दू प्रदर्शन, रैली निकाली
04 दिसंबर , 2024 : भोपाल. सर्वोच्च न्यायालय के वरिष्ठ अधिवक्ता अश्विनी उपाध्याय ने कहा कि भारत में किसी प्रधानमंत्री को नहीं भागना पड़ता. यहां की सेना बगावत नहीं करती क्योंकि यहां हिन्दू बहुसंख्यक है, लेकिन बांग्लादेश में हिन्दू डॉक्टर, अध्यापक, जज, पुलिस अधिकारी, थानेदारों से इस्तीफा लिया जा रहा है या फिर उन्हें मजबूर किया जा रहा है क्योंकि वहां हिन्दू अल्पसंख्यक है. आज बांग्लादेश में अत्याचार झेल रहे हिन्दुओं के साथ भारत का 99.99 फीसदी हिन्दू साथ है. वे भारत माता चौराहे पर आयोजित सकल हिन्दू समाज के विराट विरोध प्रदर्शन में बोल रहे थे.
उन्होंने कहा कि इस नफरत की आग को ठीक करना पड़ेगा. मैंने सर्वोच्च न्यायालय में पीआईएल फाइल की. हेट स्पीच को डिफाइन कीजिए, भारत में जितनी मजहबी किताबें हैं उनकी समीक्षा कीजिए कि कहीं कोई किताब हेट स्पीच तो नहीं फैला रही है. कुछ लोग कहते हैं, चंद कट्टरपंथियों के कारण सबको बदनाम किया जाता है तो मैं ऐसे लोगों से पूछना चाहता हूं कि पूर्व प्रधानमंत्री आईके गुजराल, मनमोहन सिंह और एलके आडवाणी को पाकिस्तान से क्यों आना पड़ा. फिल्म एक्टर रितिक रोशन के दादा रोशन साहब, प्रेम चोपड़ा, यश चोपड़ा, गीतकार गुलज़ार, लेखक खुशवंत सिंह, खिलाड़ी मिल्खा सिंह सहित कई बड़े लोगों को भागना पड़ा था. तब उन्हें उनके कन्वर्टड मुस्लिम पड़ोसी बचाने क्यों नहीं आए थे. गांधी जी ने कहा था कि आतंकवादी को मारने से आतंक खत्म नहीं होगा. इसी प्रकार जिहादियों को नहीं, जिहादी सोच को खत्म करना होगा.
उन्होंने कहा कि भारत में 6 करोड़ घुसपैठिये हैं. यह हमारे देश की एकता अखंडता के लिए खतरा हैं. हर तरह के अपराध के लिए एक्ट है, लेकिन डेमोग्राफी बदलने के खिलाफ कुछ नहीं है. हमारे हाथ से दुर्योधन का ननिहाल कंधार निकल गया, अफगानिस्तान बन गया. राजा भरत का ननिहाल पाकिस्तान बन गया. बंगाल का एक हिस्सा बांग्लादेश बन गया. भारत के राज्य और केंद्र शासित मिलाकर 9 राज्यों की डेमोग्राफी बदल गई. भारत के सीमा क्षेत्र से लगे 100 फीसदी जिलों की डेमोग्राफी बदल चुकी है. इसके बाद भी भारत के कुछ हिन्दू बांग्लादेश के मामले में खामोश हैं. यह उनका बांग्लादेश के कट्टरपंथियों को मूक समर्थन है. इसे बंद करिए. बांग्लादेश का हिन्दू नफरत की आग में जल रहा है, इस जिहादी मानसिकता के खिलाफ एकजुट होकर नफरत की आग को ठीक करना होगा.
एकजुट होकर मांग की
सकल हिन्दू समाज ने अपने ज्ञापन में मांग रखी कि बांग्लादेश सरकार से वहां हिन्दुओं पर अत्याचार तत्काल बंद करना सुनिश्चित कराया जाए एवं जेल में बंद इस्कॉन के संत चिन्मय कृष्ण दास को अविलंब कारावास से मुक्त करे. साथ ही भारत सरकार से आह्वान किया कि बांग्लादेश में हिन्दुओं और बाकी अल्पसंख्यकों पर अत्याचार रोकने को लेकर मजबूती से प्रयास करे और इसके समर्थन में वैश्विक अभिमत बनाने के यथाशीघ्र कदम उठाए.
बांग्लादेश में हिन्दुओं पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ बुधवार को भारत माता चौक, भोपाल में विराट प्रदर्शन किया गया. जिसमें बड़ी में हिन्दू समाज के लोग एवं संत उपस्थित रहे. दोपहर 2 बजे से शुरू हुए विशाल प्रदर्शन में हजारों की संख्या में लोग उपस्थित रहे. प्रदर्शन के साथ ही भोपाल के व्यापारियों ने स्वेच्छा से बाजार आधे दिन के लिए बंद रखे, कृषि उपज मंडी से अनाज की खरीदारी भी पूरी तरह बंद रही.
ज्ञापन का वाचन दिगंबर जैन समाज के अध्यक्ष मनोज बांगा ने किया. इस पर मंचासीन सभी पदाधिकारियों के साथ मंच सामने उपस्थित लोगों ने अपना समर्थन देते हुए हस्ताक्षर किए. रोशनपुरा पहुंचकर रैली की अगुवाई कर रहे संतों ने भोपाल कमिश्नर हरिनारायण चारी मिश्रा को ज्ञापन सौंपकर रैली का समापन किया.
प्रदर्शन स्थल पर संत महामंडलेश्वर रामप्रवेश दास जी महाराज, स्वामी अलीनानंद जी महाराज, श्री महंत राधा मोहनदास जी महाराज, महायोगी महंत श्री लोकनाथ जी महाराज, महामंडलेश्वर रामभूषण दास जी महाराज, एवं स्वामी पुरषोत्तम आनंद जी महाराज, महत श्री सुदेश शांडिल्य महाराज जी करुणाधाम आश्रम, श्री जितेंद्र दास जी महाराज, श्री ओमकार दास जी महाराज, महंत भोलादास जी महाराज, खतलापुरा सरकार महंत तुलसीदास जी महाराज, महंत हरी रामदास सच्चा, बाबा संत देवदास जी महाराज, महंत सुरेंद्र गिरी जी महाराज, महंत तुलसीदास जी, आर्चबिशप डॉ. ए.ए.एस. दराईराज, साध्वी रंजना दीदी, सहित विभिन्न समाजों के प्रतिनिधि भी उपस्थित रहे.